राजस्थान वन रिपोर्ट 2021 Rajasthan Van Report

Rajasthan Van Report 2021 राजस्थान वन रिपोर्ट Rajasthan forest Report 2021 PDF Notes Current Affairs. Rajasthan GK Notes वन Report PDF Download.

Rajasthan Van Report 2021

Table of Contents

राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

  • रिपोर्ट का नाम – भारत वन स्थिति रिपोर्ट 2021
  • यह रिपोर्ट भारतीय वन सर्वेक्षण (FSI) – देहरादून (1981) द्वारा प्रत्येक 2 वर्ष में तैयार की जाती है।
  • जारी करने वाला मंत्रालय – पर्यावरण, वन एवं जलवायु परिवर्तन मंत्रालय
  • संस्करण – 17th
  • Rajasthan Van Report 2021

वनावरण या वन क्षेत्र या Forest cover area


वह सभी भूमि जिसका क्षेत्रफल 1 हेक्टेयर से अधिक हो और वृक्ष घनत्व 10 % से अधिक हो वनावरण कहलाता है। भूमि का स्वामित्व व कानूनी दर्जा इसे प्रभावित नहीं करता है। यह आवश्यक नहीं है कि इस प्रकार की भूमि अभिलेखित वन में सम्मिलित हो। Rajasthan Van Report 2021 राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

वृक्षावरण या वृक्षों से आच्छादित क्षेत्र या Tree cover area

  • इसमें अभिलेखित वन क्षेत्र के बाहर 1 हेक्टेयर से कम आकार के वृक्ष खंड आते हैं।
  • वृक्ष आवरण में सभी प्रकार के वृक्ष आते हैं, जिनमें छितरे हुए वृक्ष भी सम्मिलित हैं।
  • राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

राजस्थान में वनों की स्थति – Rajasthan Van Report 2021

  • राज्य में वनों एवं वृक्षों से आच्छादित कुल क्षेत्रफल 25,388 वर्ग किमी है जो राज्य के कुल भौगोलिक क्षेत्रफल का 7.4% है।
वनावरण Forest Cover16654.96 वर्ग किमी.
वृक्षावरण Tree Cover8733 वर्ग किमी.
कुल वनावरण एवं वृक्षावरण25,388 वर्ग किमी.
  • राजस्थान में कुल वनावरण 16,654.96 वर्ग किमी है, जो राज्य के कुल भौगोलिक क्षेत्रफल का 4.87% है। (16,655 वर्ग किमी)
  • Rajasthan में 2019 के आकलन की तुलना में कुल वनावरण में 25.45 वर्ग किमी की वृद्धि हुई है।
  • राजस्थान में कुल वनावरण 8,733 वर्ग किमी है, जो राज्य के कुल भौगोलिक क्षेत्रफल का 2.56% है।
  • राज्य के 19 जिलों में वनों में वृद्धि हुई है, जबकि 14 जिलों में कमी हुई है।
  • राज्य में गैर वन क्षेत्र (Non Forest Area) राज्य के कुल भौगोलिक क्षेत्रफल का 93.72% है। Rajasthan Van Report 2021 राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

Also Read:  राजस्थान की जनसंख्या PDF

वनावरण क्षेत्र 4.87%

  • झाड़ी क्षेत्र 1.41%
  • नॉन फॉरेस्ट एरिया 93.72%

राज्य में घनत्व केआधार पर वनों की स्थिति:-

अति सघन वन (VDF)78.15 वर्ग किमी0.02%
मध्यम सघन वन (MDF)4,368.65 वर्ग किमी1.28%
खुले वन (Open Forest)12,208.16 वर्ग किमी3.57%
कुल वनावरण16,654.96 वर्ग किमी4.87%

कुल झाड़ी क्षेत्र (Scrub) 4,808.51वर्ग किमी 1.41%Rajasthan Van Report 2021 राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

राज्यके कुल वन क्षेत्र में सर्वाधिक एवं न्यूनतम वन क्षेत्र वाले जिले:-

सर्वाधिक वन क्षेत्र

जिलावन क्षेत्र
उदयपुर2753.39 वर्ग किमी
अलवर1195.91 वर्ग किमी
प्रतापगढ़1033.77 वर्ग किमी
बारां1010.05 वर्ग किमी

न्यूनतम वन क्षेत्र

जिलावन क्षेत्र
चूरू77.69 वर्ग किमी
हनुमानगढ़92.97 वर्ग किमी
जोधपुर109.25 वर्ग किमी
गंगानगर115.09 वर्ग किमी

जिलों के भौगोलिक क्षेत्रफल के प्रतिशत के अनुसार सर्वाधिक एवं न्यूनतम वन क्षेत्र वाले जिले:-

सर्वाधिक वन क्षेत्र – Rajasthan Van Report 2021

जिलावन क्षेत्र
उदयपुर23.49%
प्रतापगढ़23.24%
सिरोही17.49%
करौली15.28%

न्यूनतम वन क्षेत्र

जिलावन क्षेत्र
जोधपुर0.48%
चूरु0.56%
जैसलमेर0.84%
बीकानेर0.92%

वन स्थिति रिपोर्ट 2019 की तुलना में वनावरण क्षेत्र में सर्वाधिक वृद्धि वाले जिले:-

जिला वृद्धि (वर्ग किमी. )
अजमेर26.45
पाली26.01
बीकानेर24.10

वन स्थिति रिपोर्ट 2019 की तुलना में वनावरण क्षेत्र में सर्वाधिक कमी वाले जिले:-

जिलाकमी (वर्ग किमी. )
जालौर-32.46
करौली-26.16
सिरोही-13.49

अन्य महत्वपूर्ण तथ्य वन रिपोर्ट 2021

  • राजस्थान में कुल कार्बन स्टॉक 110.77 मिलियन है, जो देश के कुल कार्बन स्टॉक का 1.54% है।
  • राजस्थान में शिकार एक्ट घोषित करने वाली प्रथम रियासत – टोंक(1901) – Rajasthan Van Report 2021
  • स्वतंत्रता से पूर्व राजस्थान में पेड़ों की कटाई पर प्रतिबंध हेतु 1910 में जोधपुर रियासत में वन संरक्षण योजना लागू की गई।
  • राजस्थान में 1949-50 में वन विभाग की स्थापना की गई। इसका मुख्यालय जयपुर में है।
  • राजस्थान में सर्वप्रथम अलवर रियासत ने वन अधिनियम 1935 बनाया था। जिसे आजादी के बाद 1953 में पारित कर राजस्थान वन अधिनियम बनाया गया।
  • 42वें संविधान संशोधन 1976 के द्वारा वनों को समवर्ती सूची में शामिल किया गया। इससे पहले वन राज्य सूची का विषय था।
  • राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

खेजड़ी (प्रोसेपिस सिनैरेरिया)

  • 1983 में इसे राज्यवृक्ष घोषित किया गया।
  • खेजड़ी का वैदिक नाम शमी है तथा इसे राजस्थानी भाषा में जांटी कहते हैं।
  • विजयादशमी के दिन खेजड़ी के वृक्ष की पूजा की जाती है।
  • दीर्घायु वनस्पति होने के कारण इसे राजस्थान का कल्पवृक्ष भी कहते हैं।
  • खेजड़ी की फली को सांगरी तथा पत्तियों को लूम कहते हैं।
  • राजस्थान में सर्वाधिक खेजड़ी वृक्ष की अधिकता जोधपुर जिले में है। खेजड़ली बलिदान 1730 में जोधपुर रियासत के खेजड़ली गांव में अमृता देवी के नेतृत्व में विश्नोई समाज के 363 व्यक्तियों ने खेजड़ी वृक्षों की रक्षा में प्राणोत्सर्ग किया। इस समय जोधपुर के राजा अभयसिंह थे।
  • इस घटना की याद में खेजड़ली गांव में भाद्रपद शुक्लदशमी को मेला लगता है।
  • राजस्थान वन रिपोर्ट 2021

नोट: पंचकूटा:- कैर, कुमटिया, गोंदा गों , सांगरी, लाल मिर्च।

रोहिड़ा (टिकोमेला अण्डुलेटा)

  • 1983 में इसे राज्यपुष्प का दर्जा दिया गया।
  • रोहिडा को मरुस्थल का सागवान, मरू शोभा, मारवाड़ का टीक भी कहते हैं।
  • Rajasthan Van Report 2021
  • इस पर केसरिया रंग के फूल आते हैं।

Also Read: राजस्थान का एकीकरण

राजस्थान में सर्वाधिक वन किस जिले में है ?

उदयपुर।

राजस्थान में न्यूनतम वन किस जिले में है ?

चुरू

2022 जारी वन रिपोर्ट राजस्थान की कोनसे क्रम की है ?

17 वीं

केन्द्रीय वन, पर्यावरण, एवं जलवायु परिवर्तन मंत्री कौन है ?

डॉ. भूपेंद्र सिंह यादव